शिकायतकर्ता और आरएसएस कार्यकर्ता राजेश कुंटे ने 2014 में राहुल के एक भाषण के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। अपने भाषण में राहुल गांधी ने महात्मा गांधी की हत्या का आरोप आरएसएस पर लगाया था, जिसके बाद कुंटे ने भिवंडी मजिस्ट्रेट की अदालत में शिकायत की थी। इसपर कुंटे ने कहा था कि गांधी के इस बयान से आरएसएस की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है। मामले में राहुल गांधी 2018 में कोर्ट में पेश हुए थे। इस दौरान उन्होंने खुद को निर्दोष साबित किया था।
शनिवार को कुंते के एडवोकेट ने सात नए सबूत भी पेश किए हैं। हालांकि, राहुल गांधी के वकील नारायण अय्यर ने आपत्ति जताते हुए कहा कि उन्हें कॉपी नहीं दी गई है। फिर इसके बाद कुंते के वकील ने कॉपी की प्रतियां नारायण अय्यर को दे दी।
आरएसएस के एक स्थानीय कार्यकर्ता राजेश कुंटे ने 2014 में ठाणे के भिवंडी कस्बे में गांधी के भाषण को लेकर उनके खिलाफ मामला दर्ज कराया था, जिसमें कांग्रेस नेता ने महात्मा गांधी की हत्या में आरएसएस का हाथ होने का आरोप लगाया था। कुंटे ने दावा किया है कि इस बयान के जरिये आरएसएस की प्रतिष्ठा को धूमिल किया गया है।
मानहानि मामले में हो चुके हैं अयोग्य
बता दें कि सूरत की अदालत ने 23 मार्च को गांधी को 2019 में उनके खिलाफ दायर आपराधिक मानहानि मामले में दो साल की जेल की सजा सुनाई थी। हालांकि अदालत ने उन्हें इसमें जमानत भी दे दी थी और सजा को 30 दिनों के लिए निलंबित कर दिया, ताकि उच्च न्यायालय में अपील करने की अनुमति मिल सके। इसके बाद, लोकसभा सचिवालय ने राहुल गांधी को लोकसभा के सदस्य के रूप में अयोग्य घोषित कर दिया था।
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